tag:blogger.com,1999:blog-2225255613261524089.post7823872547213977348..comments2023-09-04T18:45:22.824+05:30Comments on बतकुचनी: क्या नाम दूं उसे....?बतकुचनीhttp://www.blogger.com/profile/00991853370935987702noreply@blogger.comBlogger4125tag:blogger.com,1999:blog-2225255613261524089.post-70668926752054693392011-10-09T07:28:53.161+05:302011-10-09T07:28:53.161+05:30मां की श्रेणी कौन तय करे, हां चाहें तो अपनी श्रेणी...मां की श्रेणी कौन तय करे, हां चाहें तो अपनी श्रेणी के बारे में जरूर सोच सकते हैं.Rahul Singhhttps://www.blogger.com/profile/16364670995288781667noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2225255613261524089.post-26962532240782711402011-10-08T23:23:17.747+05:302011-10-08T23:23:17.747+05:30इसमें भ्रम का कोई सवाल ही नहीं है। वह एक माँ थी उस...इसमें भ्रम का कोई सवाल ही नहीं है। वह एक माँ थी उस वक्त। बेशर्म कहने दीजिए, जिसको कहना है…चंदन कुमार मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/17165389929626807075noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2225255613261524089.post-74534649493292578282011-10-08T23:21:20.103+05:302011-10-08T23:21:20.103+05:30नारी तेरी यही कहानी
आँचल में दूध आँखों में पानीनारी तेरी यही कहानी <br />आँचल में दूध आँखों में पानीJANSAMVADhttps://www.blogger.com/profile/08531353398924182728noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2225255613261524089.post-67512260986873541992011-10-08T23:01:04.022+05:302011-10-08T23:01:04.022+05:30मां।
लोकलाज और शर्महया को यदि तवज्जो दे तो फिर आ...मां। <br />लोकलाज और शर्महया को यदि तवज्जो दे तो फिर आप और हम या फिर कोई इंसान इस दुनिया में ही कैसे आ पाएंगे.... <br />क्या कोई निकले हुए पेट के साथ महीनों घूम सकता है.... सिर्फ वहीं कर सकती है,, जिसमें मां का उत्साह हो, फिर मां कैसे अपने बच्चे से ज्यादा लोकलाज और शर्म को तवज्जो दे। <br />ये मां उन से तो बेहतर ही है जो फैशन में कम कपडे पहनते हैं.... सब कुछ होते हुए भी अपना पूरा बदन नुमाईश करती रहती हैं.... इस महिला ने तो अपने बेटे की भूख शांत करने के लिए ऐसा किया.... वो सिर्फ मां है... जिम्मेदार मां है..... यदि समाज की नजर में इसे बेशर्म कहा गया तो फिर असली बेशर्म तो समाज ही कहा जाएगा..... <br />बहरहाल, आप अपनी उलझन को शांत करें... <br />आभार....Atul Shrivastavahttps://www.blogger.com/profile/02230138510255260638noreply@blogger.com